जैन प्रतिमाओं का अपमान: पुलिस ने रील बनाने वालों पर की कार्रवाई
ग्वालियर किले में जैन मूर्तियों के अपमान के मामले में पुलिस ने एफआईआर दर्ज की है। लाखन कुशवाह और प्रीति कुशवाह ने रील बनाने के लिए मूर्तियों के साथ अभद्रता की, जिसके बाद उन्होंने माफी मांगी। पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और लोगों से धार्मिक स्थलों की गरिमा बनाए रखने की अपील की है। जैन समुदाय ने इस घटना पर कड़ी आपत्ति जताई है। इस घटना ने धार्मिक स्थलों पर सोशल मीडिया सामग्री बनाने की प्रवृत्ति पर बहस छेड़ दी है।

ग्वालियर के ऐतिहासिक किले में रील बनाते समय जैन तीर्थंकर की प्रतिमा का अपमान करने के मामले में पुलिस ने सख्ती दिखाई है और दो लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है। लाखन और प्रीति ने जैन समाज से माफी मांगी है। यह मामला तब सामने आया जब उन्होंने किले में घूमते हुए जैन धर्म से जुड़ी मूर्तियों का अपमान किया और अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया।
घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद जैन समुदाय में आक्रोश फैल गया। डबरा के नरेंद्र जैन ने बहोड़ापुर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई, जिसके बाद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का मामला दर्ज किया। एएसपी निरंजन शर्मा ने कहा कि दोनों पर धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने और सार्वजनिक स्थान पर अनुचित व्यवहार करने का आरोप है।
विवाद बढ़ने पर प्रीति और लाखन कुशवाह ने माफी मांगते हुए एक वीडियो जारी किया। उन्होंने कहा कि उन्हें नहीं पता था कि वे जिन मूर्तियों के साथ रील बना रहे थे, वे जैन तीर्थंकरों की मूर्तियां हैं। उन्होंने कहा कि वे पहली बार ग्वालियर किला देखने आए थे और अनजाने में यह गलती हो गई। जैन समुदाय के मुनियों और अन्य धार्मिक नेताओं ने इस पर कड़ी आपत्ति जताई है।
पुलिस प्रशासन ने नागरिकों और युवाओं से धार्मिक स्थलों की गरिमा बनाए रखने और सोशल मीडिया सामग्री बनाते समय संयम बरतने का आग्रह किया है। इस घटना ने धार्मिक स्थलों पर सोशल मीडिया सामग्री बनाने की प्रवृत्ति पर बहस छेड़ दी है।