डीएनडी फ्लाईवे: नोएडा प्राधिकरण की 330 एकड़ जमीन वापस लेने की तैयारी

नोएडा प्राधिकरण डीएनडी फ्लाईवे के लिए एनटीबीसीएल को आवंटित 330 एकड़ जमीन वापस लेगा, क्योंकि यह जमीन अनुपयोगी है और सुप्रीम कोर्ट ने डीएनडी को टोल फ्री रखने का आदेश दिया है। एनटीबीसीएल इस फैसले का विरोध कर रहा है और कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी है। प्राधिकरण जमीन का सर्वेक्षण कर रहा है और भविष्य में इसके उपयोग पर निर्णय लेगा। डीएनडी फ्लाईवे 2001 में चालू हुआ था, लेकिन 2016 से टोल फ्री है।

Mar 18, 2025 - 17:03
डीएनडी फ्लाईवे: नोएडा प्राधिकरण की 330 एकड़ जमीन वापस लेने की तैयारी
नोएडा प्राधिकरण ने डीएनडी फ्लाईवे के लिए एनटीबीसीएल को आवंटित 330 एकड़ जमीन वापस लेने की तैयारी शुरू कर दी है। यह फैसला सुप्रीम कोर्ट के डीएनडी को टोल फ्री रखने के आदेश के बाद लिया गया है। प्राधिकरण ने एनटीबीसीएल को कुल 454 एकड़ जमीन आवंटित की थी, जिसमें से 330 एकड़ अभी भी अनुपयोगी है। एनटीबीसीएल ने केवल 124 एकड़ जमीन पर फ्लाईवे, टोल प्लाजा और कार्यालय बनाया है। प्राधिकरण अब शेष जमीन को वापस लेने की योजना बना रहा है, जिस पर पार्क, गौशाला, ग्रीन बेल्ट और क्रिकेट ग्राउंड बने हुए हैं।

प्राधिकरण के सीईओ लोकेश एम. ने बताया कि अनुपयोगी जमीन का सर्वेक्षण किया जा रहा है और एक सप्ताह में रिपोर्ट आने की उम्मीद है। अभी यह तय नहीं है कि जमीन का भविष्य में क्या उपयोग होगा या टोल प्लाजा हटाया जाएगा या नहीं।

एनटीबीसीएल ने प्राधिकरण के इस कदम को अवैध बताते हुए अनुबंध का उल्लंघन बताया है। कंपनी ने 1997 के अनुबंध और 1998 के भूमि पट्टा समझौते का हवाला देते हुए कहा कि उसे 30 वर्षों के लिए भूमि के उपयोग का अधिकार दिया गया था। कंपनी ने प्राधिकरण को पत्र लिखकर इस आदेश को वापस लेने की मांग की है और कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी है।

डीएनडी फ्लाईवे 6 फरवरी 2001 को चालू हुआ था। 2014 में, फेडरेशन ऑफ नोएडा रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन ने टोल और अनुबंध को समाप्त करने की मांग करते हुए हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी। 2016 में, हाई कोर्ट ने एनटीबीसीएल को टोल वसूलने से रोक दिया था, जिसे बाद में सुप्रीम कोर्ट ने भी बरकरार रखा।