लखनऊ ऑर्बिटल रेलवे कॉरिडोर: सात रूटों को जोड़ने की तैयारी
लखनऊ में रेलवे स्टेशनों पर ट्रेनों के दबाव को कम करने के लिए 170 किलोमीटर लंबा ऑर्बिटल रेलवे कॉरिडोर बनाया जाएगा, जो लखनऊ के सात प्रमुख रूटों को जोड़ेगा। इस परियोजना को 2031 तक पूरा करने का लक्ष्य है। इसके साथ ही एक मेगा पैसेंजर टर्मिनल और रेल लॉजिस्टिक्स पार्क भी बनाया जाएगा। कॉरिडोर में लखनऊ-कानपुर, लखनऊ-शाहजहांपुर-मुरादाबाद, और अन्य सेक्शन शामिल होंगे, जिससे ट्रेनों का संचालन सुचारू होगा।

इस परियोजना के तहत, 170 किलोमीटर लंबे कॉरिडोर में लखनऊ-कानपुर, लखनऊ-शाहजहांपुर-मुरादाबाद, ऐशबाग-डालीगंज-सीतापुर सिटी, लखनऊ-बाराबंकी-गोंडा, लखनऊ-बाराबंकी-अयोध्या, लखनऊ-सुलतानपुर-वाराणसी और लखनऊ-रायबरेली-वाराणसी सेक्शन को जोड़ा जाएगा।
परियोजना के सर्वे को मंजूरी मिल गई है और 2031 तक इसे पूरा करने का लक्ष्य है।
उत्तर रेलवे लखनऊ मंडल के सीनियर डीसीएम कुलदीप तिवारी ने बताया कि इस कॉरिडोर से रेलवे ट्रैफिक को सुचारू रूप से चलाने में काफी मदद मिलेगी।
ऑर्बिटल कॉरिडोर के साथ ही एक ग्रीन फिल्ड मेगा पैसेंजर टर्मिनल भी बनाया जाएगा, जिसमें 30 से ज्यादा लाइनें और 20 से ज्यादा प्लैटफॉर्म होंगे।
इसके अतिरिक्त, आगरा एक्सप्रेस-वे के पास एक मेगा रेल लॉजिस्टिक्स पार्क भी बनवाया जाएगा।
कॉरिडोर का रूट इस प्रकार होगा: 45 किलोमीटर बीकेटी से जहांगीराबाद, 9 किलोमीटर जहांगीराबाद से रसौली, 32 किलोमीटर रसौली से अर्जुनगंज, 16 किलोमीटर अर्जुनगंज से मोहनलालगंज, 25 किलोमीटर मोहनलालगंज से पिपरसंड, 21 किलोमीटर पिपरसंड से काकोरी, 22 किलोमीटर काकोरी से बीकेटी। अर्जुनगंज से मोहनलालगंज के बीच मेगा टर्मिनल प्रस्तावित है।