मध्य प्रदेश बजट 2025: महिला, उद्योग और किसान फोकस पर
मध्य प्रदेश के वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने विधानसभा में मोहन यादव सरकार का दूसरा बजट पेश किया, जिसमें उद्योग, इंफ्रास्ट्रक्चर, कृषि, युवा और महिलाओं पर ध्यान केंद्रित किया गया है। 4 लाख करोड़ रुपये से अधिक के इस बजट में उद्योग और इंफ्रास्ट्रक्चर पर जोर दिया गया है, क्योंकि सरकार ने 2025 को उद्योग वर्ष घोषित किया है। प्रधानमंत्री मोदी के GYAN दृष्टिकोण (गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी) को प्राथमिकता देते हुए, लाडली बहना और लाडली लक्ष्मी जैसी कल्याणकारी योजनाओं के लिए धन आवंटित किया गया है। कृषि क्षेत्र को समर्थन देने के लिए, MSP के अतिरिक्त गेहूं और धान की खरीद पर बोनस देने का फैसला किया गया है, जिसका उद्देश्य किसानों की आय बढ़ाना और कृषि का आधुनिकीकरण करना है।

इस बजट में कई जरूरी सेक्टरों पर फोकस किया जाएगा। सरकार ने साल 2025 को उद्योग वर्ष के तौर पर घोषित किया है। सरकार का खास ध्यान किसान, महिलाओं और उद्योगों पर रहेगा।
पिछले महीने, सरकार ने राज्य में निवेश को बढ़ावा देने के लिए एक ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट का आयोजन किया था। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने 2025 को मध्य प्रदेश में उद्योग वर्ष घोषित किया है। इसे ध्यान में रखते हुए बजट में उद्योग और इंफ्रास्ट्रक्चर पर जोर दिया जा सकता है। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि 2025-26 का बजट लोगों की उम्मीदों को पूरा करेगा। अनुमान है कि यह बजट 4 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का हो सकता है।
बजट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के GYAN (गरीब, युवा, अन्नदाता और नारी) को भी प्राथमिकता दी जा सकती है। राज्य सरकार ने GYAN के चारों वर्गों के लिए मिशन शुरू किए हैं, जिसमें कृषक उन्नति योजना भी शामिल है। वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा को इन मिशनों को लागू करने के लिए पैसे का इंतजाम करना होगा।
उम्मीद है कि लाडली बहना योजना और लाडली लक्ष्मी योजना जैसी योजनाओं को जारी रखने के लिए बजट में जरूरी इंतजाम किए जाएंगे। इसके अलावा, सरकार गरीबों के लिए घर बनाने पर भी ध्यान दे रही है, जिसके लिए ज्यादा पैसा दिया जा सकता है।
कृषि राज्य की मुख्य आजीविका है, इसलिए उम्मीद है कि सरकार कृषि क्षेत्र को फायदा पहुंचाना जारी रखेगी। राज्य सरकार ने MSP के अलावा गेहूं और धान खरीदने पर बोनस देने का निर्णय लिया है। किसानों को बढ़ावा देने के लिए फंड दिया जा सकता है। MSP के साथ-साथ बोनस मिलने से किसानों की कमाई बढ़ेगी। इसके साथ ही, कृषि को आधुनिक बनाने के लिए भी फंड दिया जा सकता है, जिससे किसानों की उत्पादन क्षमता बढ़ेगी और उन्हें अच्छी कीमत मिलेगी।