चीन का रक्षा बजट: संप्रभुता और अखंडता की रक्षा के लिए 249 अरब डॉलर

चीन ने 2025 के राष्ट्रीय बजट में रक्षा खर्च के लिए 1,810 अरब युआन आवंटित किए, जो 2024 से 7.2% अधिक है। चीन ने अपने 249 अरब डॉलर के बजट को सही ठहराते हुए कहा कि उसे संप्रभुता की रक्षा में चुनौती है, और इस राशि का उपयोग सेना के आधुनिकीकरण के लिए किया जाएगा। प्रधानमंत्री ली क्विंग ने घोषणा की कि इस वर्ष का रक्षा व्यय लगभग 249 अरब डॉलर है। प्रवक्ता वू कियान ने कहा कि सेना को संप्रभुता की रक्षा में कठिनाई हो रही है। चीन का रक्षा बजट अमेरिका के बाद सबसे अधिक है, और भारत के रक्षा बजट से तीन गुना ज्यादा है, जिससे भारत चिंतित है।

Mar 10, 2025 - 07:47
चीन का रक्षा बजट: संप्रभुता और अखंडता की रक्षा के लिए 249 अरब डॉलर
चीन ने 2025 के राष्ट्रीय आम सार्वजनिक बजट में रक्षा खर्च के लिए 1,810 अरब युआन आवंटित किए हैं। इससे रक्षा बजट में 2024 की तुलना में 7.2% की वृद्धि हुई है।

इसमें केंद्र सरकार का व्यय 1,780 अरब युआन है, जो 2024 से 7.2% अधिक है।

चीन ने 249 अरब डॉलर के रक्षा बजट को सही ठहराया और कहा कि उसे संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा में चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है। बढ़ी हुई राशि का उपयोग सेना के आधुनिकीकरण के लिए किया जाएगा।

प्रधानमंत्री ली क्विंग ने संसद में घोषणा की कि इस वर्ष का रक्षा व्यय लगभग 249 अरब अमेरिकी डॉलर है।

रक्षा प्रवक्ता वू कियान ने कहा कि चीनी सेना को राष्ट्रीय संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा में चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है।

पिछले साल चीन ने रक्षा बजट 7.2% बढ़ाकर लगभग 232 अरब डॉलर किया था, जो अमेरिका के बाद दुनिया में सबसे अधिक है। अमेरिका का प्रस्तावित रक्षा खर्च 890 अरब डॉलर से अधिक है।

चीन अमेरिकी रक्षा बजट का हवाला देता है, लेकिन उसका बढ़ता रक्षा खर्च पड़ोसियों, खासकर भारत पर दबाव डाल रहा है। चीन का रक्षा खर्च भारत के 78.8 अरब डॉलर से तीन गुना ज्यादा है, जिससे भारत की चिंता बढ़ गई है। चीन और भारत के बीच सीमा पर दशकों पुराना विवाद है और दोनों देश 1962 में युद्ध भी लड़ चुके हैं।